Thursday 1 January 2015

नव वर्ष की बड़ी चुनौती

नव वर्ष मे प्रधानमंत्री के सामने सबसे बड़ी चुनौती गुड गवर्नेंस की है ! क्यों की बाकि बातें तो देश, काल और परिस्थितियों पर निर्भर करती है ! लेकिन अच्छा प्रशासन देने के लिए तो कोई मज़बूरी नहीं है ! लेकिन क्या अन्य प्रांतो के मुख्यमंत्री मोदी जी के साथ कदम ताल करपाएंगे !

मध्य प्रदेश में ये हाल है की अधिकारी पूरी तरह हावी है ! पुलिस की लापरवाही की रोज़ औसतन एक खबर अख़बार में पढ़ने को मिलती है ! आधे से ज्यादा मंत्री परिषद के सदस्य लोकायुक्त और ब्रष्टाचार की जांच से घीरे है ! पी.एम.टी. फर्जीवाड़े का तो कोई आदि, मध्य और अंत नहीं हे !

विभिन्य नियुक्तियों में हुए फर्जीवाड़े की खबरे पढ़कर ऐसा लगता हे की यह शिवराज की नहीं फरीजीवड़े की सरकार है !

अगर इंदौर महानगर की बात करे तो कुंठा से ग्रसित हो मुख़्य मंत्री ने अच्छे भले काम कर रहे इंदौर विकास प्राधिकरण को पंगु बना दिया वार्ना पिछले दस वर्षो में, विकास प्राधिकरण ने विकास की बयार लादी थी, लेकिन अब सारी विकास योजनाये ठप पड़ी है ! पिछले सात-आठ सालो में एक भी निर्माणाधीन ब्रिज चालू न होसका सिर्फ मियादें बढ़ती जा रही है !

अब शायद शिवराज जी को भी एहसास होगया है की जल्द ही उनकी पारी डिक्लेअर होने वाली है ! अतः उन्होंने रन बनाना बंद कर दिया है ! सिर्फ पूरा ध्यान स्ट्रोक खेलने पर है !